मुंबई महानगर पालिका (BMC) चुनाव को लेकर आम आदमी पार्टी (AAP) ने अपनी तैयारियों को और तेज कर दिया है। गुरुवार, 25 दिसंबर को पार्टी ने उम्मीदवारों की दूसरी सूची जारी की, जिसमें 15 प्रत्याशियों के नामों की घोषणा की गई है। इससे पहले AAP अपनी पहली सूची जारी कर चुकी है। दूसरी सूची के साथ ही अब पार्टी कुल 36 उम्मीदवारों को मैदान में उतार चुकी है। पार्टी नेतृत्व पहले ही साफ कर चुका है कि AAP बीएमसी की सभी 227 सीटों पर चुनाव लड़ेगी और किसी भी दल के साथ गठबंधन नहीं करेगी।
सभी सीटों पर अकेले चुनाव लड़ने का ऐलान
AAP का दावा है कि वह मुंबई की राजनीति में एक वैकल्पिक और पारदर्शी मॉडल पेश करना चाहती है। पार्टी का मानना है कि बीएमसी पर लंबे समय से कुछ ही राजनीतिक दलों का कब्जा रहा है और इसका खामियाजा आम मुंबईकर को भुगतना पड़ा है। इसी सोच के तहत आम आदमी पार्टी ने सभी सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारने का फैसला लिया है, ताकि सीधे तौर पर जनता के सामने अपनी नीतियों और काम के एजेंडे के साथ जा सके।
विपक्ष पर सीधा हमला
मुंबई AAP की अध्यक्ष प्रीति मेनन ने दूसरी सूची जारी करते हुए विपक्षी दलों पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने कहा, “आम आदमी पार्टी ने उम्मीदवारों की अपनी दूसरी सूची जारी कर दी है। जहां बीजेपी, कांग्रेस, दो शिवसेना और दो एनसीपी अब तक एक भी सूची तय नहीं कर पाए हैं, वहीं AAP के 36/227 उम्मीदवार मैदान में उतर चुके हैं।” उनके इस बयान से साफ है कि पार्टी खुद को चुनावी तैयारी के मामले में बाकी दलों से आगे बता रही है।
उद्धव और राज ठाकरे पर क्या कहा?
प्रीति मेनन ने उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे को लेकर भी टिप्पणी की। उन्होंने कहा, “हमें खुशी है कि दो भाई साथ आए हैं, लेकिन आज हमने सिर्फ उद्धव ठाकरे, राज ठाकरे और बीजेपी के आशीष शेलार को एक-दूसरे पर छींटाकशी करते हुए देखा है।” उन्होंने आरोप लगाया कि चुनावी मुद्दों और जनहित के कामों पर बात करने के बजाय ये नेता आपसी आरोप-प्रत्यारोप में उलझे हुए हैं।
उन्होंने आगे कहा कि कांग्रेस हमेशा की तरह इस पूरे परिदृश्य से गायब नजर आ रही है। प्रीति मेनन के मुताबिक, मुंबई की मौजूदा स्थिति के लिए सभी पारंपरिक दल जिम्मेदार हैं। “सच्चाई यह है कि सभी मौजूदा दल यथास्थिति के लाभार्थी हैं और उन्होंने बीएमसी को लूटा है, चाहे वह सत्ताधारी दल के रूप में हो या विपक्ष के रूप में मिलीभगत करके,” उन्होंने कहा।
‘काम की राजनीति’ का दावा
AAP नेता ने यह भी आरोप लगाया कि इन पार्टियों के पास जनता को दिखाने के लिए कोई ठोस काम नहीं है। इसी वजह से वे एक-दूसरे पर कीचड़ उछालकर लोगों का ध्यान असली मुद्दों से भटकाने की रणनीति अपना रही हैं। उन्होंने कहा कि जहां दूसरे दल अब तक आपसी सहमति से एक भी सूची तय नहीं कर पाए हैं, वहीं आम आदमी पार्टी पहले ही दो सूचियां जारी कर चुकी है।
प्रीति मेनन ने कहा, “आम आदमी पार्टी हमारे नेता अरविंद केजरीवाल की ‘काम की राजनीति’ के साथ मैदान में उतर चुकी है।” पार्टी का दावा है कि दिल्ली और पंजाब में किए गए काम ही उसका सबसे बड़ा चुनावी हथियार हैं, और वही मॉडल वह मुंबई में भी लागू करना चाहती है।
बीएमसी चुनाव में बदलेगा मुकाबला?
AAP की सक्रियता से यह साफ है कि बीएमसी चुनाव में मुकाबला इस बार और दिलचस्प होने वाला है। जहां एक ओर पारंपरिक दलों के बीच गठबंधन और सीट बंटवारे को लेकर खींचतान जारी है, वहीं AAP खुद को एक सशक्त विकल्प के रूप में पेश करने में जुटी है। पार्टी का फोकस स्थानीय मुद्दों, पारदर्शिता और बुनियादी सुविधाओं पर बताया जा रहा है।
अब देखना यह होगा कि आम आदमी पार्टी की यह आक्रामक रणनीति और शुरुआती उम्मीदवार घोषणाएं उसे मुंबई की राजनीति में कितनी मजबूती दिला पाती हैं और क्या वह बीएमसी चुनाव में बड़ा उलटफेर कर पाएगी या नहीं।